राहु अष्टोत्तर शतनामावलि – श्री राहु के 108 नाम और बीजमंत्र

 

राहु बीज मन्त्र – Beej Mantra for Rahu Mp3 Download Free

Beej Mantra for Rahu – नौ रत्ती का गोमेद रत्न पंचधातु या रत्न को लोहे की अंगूठी में जड़वा कर शनिवार के दिन राहु बीज मंत्र- “ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं स: राहवे नम:” (Beej Mantra for Rahu) का 108 बार उच्चारण कर अभिमंत्रित करके दाहिने हाथ की मध्यमा अंगुली में पहन लें। माना जाता है इससे शीघ्र ही राहु की दशा खत्म हो जाती है। मंत्र- ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चे।

Beej Mantra for Rahu

ॐ भ्राँ भ्रीं भ्रौं सः राहवे नमः ||

Rahu Graha ke Mantra

ॐ राहवे नमः ||
ॐ सैंहिकेयाय नमः ||
ॐ विधुन्तुदाय नमः ||
ॐ सुरशत्रवे नमः ||
ॐ तमसे नमः ||
ॐ फणिने नमः ||
ॐ गार्ग्यनयाय नमः ||
ॐ सुरापिने नमः ||
ॐ नीलजीमूतसंकाशाय नमः ||
ॐ चतुर्भुजाय नमः ||१०
ॐ खङ्गखेटकधारिणे नमः ||
ॐ वरदायकहस्तकाय नमः ||
ॐ शूलायुधाय नमः ||
ॐ मेघवर्णाय नमः ||
ॐ कृष्णध्वजपताकावते नमः ||
ॐ दक्षिणाशामुखरथाय नमः ||
ॐ तीक्ष्णदंष्ट्रकरालकाय नमः ||
ॐ शूर्पाकारसंस्थाय नमः ||
ॐ गोमेदाभरणप्रियाय नमः ||
ॐ माषप्रियाय नमः ||२०
ॐ कश्यपर्षिनन्दनाय नमः ||
ॐ भुजगेश्वराय नमः ||
ॐ उल्कापातयित्रे नमः ||
ॐ शूलिने नमः ||
ॐ निधिपाय नमः ||
ॐ कृष्णसर्पराजे नमः ||
ॐ विषज्वलावृतास्याय अर्धशरीराय नमः ||


ॐ शात्रवप्रदाय नमः ||
ॐ रवीन्दुभीकराय नमः ||
ॐ छायास्वरूपिणे नमः ||३०
ॐ कठिनाङ्गकाय नमः ||
ॐ द्विषच्चक्रच्छेदकाय नमः ||
ॐ करालास्याय नमः ||
ॐ भयंकराय नमः ||
ॐ क्रूरकर्मणे नमः ||
ॐ तमोरूपाय नमः ||
ॐ श्यामात्मने नमः ||
ॐ नीललोहिताय नमः ||
ॐ किरीटिणे नमः ||
ॐ नीलवसनाय नमः ||४०
ॐ शनिसमान्तवर्त्मगाय नमः ||
ॐ चाण्डालवर्णाय नमः ||
ॐ अश्व्यर्क्षभवाय नमः ||
ॐ मेषभवाय नमः ||
ॐ शनिवत्फलदाय नमः ||
ॐ शूराय नमः ||
ॐ अपसव्यगतये नमः ||
ॐ उपरागकराय नमः ||
ॐ सोमसूर्यच्छविविमर्दकाय नमः ||
ॐ नीलपुष्पविहाराय नमः ||५०
ॐ ग्रहश्रेष्ठाय नमः ||
ॐ अष्टमग्रहाय नमः ||
ॐ कबन्धमात्रदेहाय नमः ||
ॐ यातुधानकुलोद्भवाय नमः ||
ॐ गोविन्दवरपात्राय नमः ||
ॐ देवजातिप्रविष्टकाय नमः ||
ॐ क्रूराय नमः ||
ॐ घोराय नमः ||
ॐ शनेर्मित्राय नमः ||
ॐ शुक्रमित्राय नमः ||६०
ॐ अगोचराय नमः ||
ॐ माने गङ्गास्नानदात्रे नमः ||
ॐ स्वगृहे प्रबलाढ्यदाय नमः ||
ॐ सद्गृहेऽन्यबलधृते नमः ||
ॐ चतुर्थे मातृनाशकाय नमः ||
ॐ चन्द्रयुक्ते चण्डालजन्मसूचकाय नमः ||
ॐ सिंहजन्मने नमः ||
ॐ राज्यदात्रे नमः ||
ॐ महाकायाय नमः ||
ॐ जन्मकर्त्रे नमः ||७०
ॐ विधुरिपवे नमः ||
ॐ मादकज्ञानदाय नमः ||
ॐ जन्मकन्याराज्यदात्रे नमः ||
ॐ जन्महानिदाय नमः ||
ॐ नवमे पितृहन्त्रे नमः ||
ॐ पञ्चमे शोकदायकाय नमः ||
ॐ द्यूने कलत्रहन्त्रे नमः ||
ॐ सप्तमे कलहप्रदाय नमः ||
ॐ षष्ठे वित्तदात्रे नमः ||
ॐ चतुर्थे वैरदायकाय नमः ||८०
ॐ नवमे पापदात्रे नमः ||
ॐ दशमे शोकदायकाय नमः ||
ॐ आदौ यशः प्रदात्रे नमः ||
ॐ अन्ते वैरप्रदायकाय नमः ||
ॐ कालात्मने नमः ||
ॐ गोचराचाराय नमः ||
ॐ धने ककुत्प्रदाय नमः ||
ॐ पञ्चमे धिशणाशृङ्गदाय नमः ||
ॐ स्वर्भानवे नमः ||
ॐ बलिने नमः ||९०
ॐ महासौख्यप्रदायिने नमः ||
ॐ चन्द्रवैरिणे नमः ||
ॐ शाश्वताय नमः ||
ॐ सुरशत्रवे नमः ||
ॐ पापग्रहाय नमः ||
ॐ शाम्भवाय नमः ||
ॐ पूज्यकाय नमः ||
ॐ पाटीरपूरणाय नमः ||
ॐ पैठीनसकुलोद्भवाय नमः ||
ॐ भक्तरक्षाय नमः ||१००
ॐ राहुमूर्तये नमः ||
ॐ सर्वाभीष्टफलप्रदाय नमः ||
ॐ दीर्घाय नमः ||
ॐ कृष्णाय नमः ||
ॐ अतनवे नमः ||
ॐ विष्णुनेत्रारये नमः ||
ॐ देवाय नमः ||
ॐ दानवाय नमः ||
||इति राहु अष्टोत्तरशतनामावलिः सम्पूर्णम् ||

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